मंथर
गति से बहाव कर रही कोसी कभी भी हो सकती है उग्र
26 जुलाई को 2 लाख 14 हजार 200 क्यूसेक जल निस्सरण का
है रिकार्ड
कोसी
नदी के बराह क्षेत्र में 24 जुलाई को सुबह 6 बजे 89 हजार 500 क्यूसेक जल निस्सरण के
साथ दोपहर 2 बजे घटकर 86 हजार 900 पर पहूंच गयी। जबकि कोसी
बराज में सुबह 6 बजे एक लाख 41 हजार 950 क्यूसेक जल निस्सरण के
साथ दोपहर 2 बजे घटकर एक लाख 33 हजार 915 क्यूसेक जल निस्सरण पर
पहूंच गयी। जबकि 25 जुलाई को बराह क्षेत्र में एक लाख 1750 क्यूसेक एवं कोसी बराज
से एक लाख 38 हजार 765 क्यूसेक जल निस्सरण की खबर है। पूर्व के जल निस्सरण एवं 24 व 25 जुलाई के मौसम का मिजाज
यह साबित कर रहा है कि नेपाल प्रभाग के धनकुट्टा, धरान बाजार, ओखलढुंगा व टपलेजुंग में बारिष होने की
खबर है और इन क्षेत्रों में बारिया होने से ही कोसी नदी में जल वृद्धि होने की
संभावनाओं से इंकार नहीं किया जा सकता। जबकि साल 2016 में 26 जुलाई को 2 लाख 14 हजार 200 क्यूसेक जल निस्सरण का
रिकार्ड है। यह रिकार्ड भले ही बाढ के लिए कोई अधिकतम जल निस्सरण नहीं है। लेकिन
पूर्वी कोसी तटबंध के स्परों पर दवाब बनाने के लिए भी कम नहीं है। हालांकि बिहार
के कोसी बेसिन में बारिष की स्थिति अभी खतरा पैदा करने लायक नहीं है।
लेकिन अगर
मौसम का मिजाज बदला तो कुछ भी कहना मुश्किल होगा। वैसे भी विशेषज्ञ बताते हैं की
अभी नेपाल के तराई क्षेत्रों में ही हल्की बारिश हो रही है।अगर
हिमालय के मध्य क्षेत्रों में बारिश हुई तो बाढ़ का खतरा उत्पन्न होना ही। अब
तक कोसी नदी में आयी बाढ से जिले के नवहट्टा प्रखंड के केदली पंचायत के रामपुर व शाहपुर
पंचायत के शाहपुर गांव के 66
परिवारों
का घर उजड़ गया। जानकारी के मुताविक इन सभी कटाव पीड़ितों को सरकारी सहायता भी मिल
चुकी है